Parenting Tips: बच्चों को बनाना चाहते हैं आत्मनिर्भर, तो करें यह काम |  Bachho Ko Self Dependent Kaise Banaye

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Parenting Tips: बच्चों को बनाना चाहते हैं आत्मनिर्भर, तो करें यह काम

Parenting Tips | बच्चों को आत्मनिर्भर कैसे बनाएं:

यह आर्टिकल आपको बताया कि, आप अपने बच्चों को आत्मनिर्भर कैसे बना सकते हैं सकते हैंl इस दुनिया में जहां माता-पिता को अपने बच्चों को समय देना मुश्किल हो जाता हैl माता-पिता अपने बच्चों का ध्यान नहीं रख पातेl इस डिजिटल दुनिया में माता-पिता मोबाइल का प्रयोग इस हद तक करते हैं कि वह अपने बच्चों को अनदेखा कर देते हैंl इस समस्या को दूर करने के लिए इस आर्टिकल में कुछ बातें बताई गई है, जिनका ध्यान रखना आवश्यक हैl

सभी माता-पिता अपने बच्चों को बहुत प्यार करते हैंl वह अपने बच्चों को हर खुशियां देना चाहते हैं, हर मुश्किल से बचना चाहते हैंl इसी चाहत के कारण वे बच्चों को इतना आराम देते हैं कि उनका हर काम वे खुद करना चाहते हैंl यही सोच उन बच्चों के लिए बहुत घातक होने वाली हैl यह सोच उन बच्चों को डिपेंडेंट बना देती हैl जिस कारण वह अपना काम खुद नहीं कर पातेl इस दुनिया में जहां बच्चों को आत्मनिर्भर होना बहुत ही ज्यादा जरूरी हैl यदि आप चाहते हैं कि आपका बच्चा बहादुर और इस तेजी से बदलती दुनिया से कदम से कदम मिलाकर चलेl तो नीचे कुछ बातें दी गई है जिनका ध्यान जरूर रखेंl

फैसले लेने की आजादी:

आजकल माता-पिता इतने डोमिनेंट नेचर के हो गए हैं कि वह अपने बच्चों की कुछ नहीं सुनतेl अपने बच्चों की मन की बातें सुनने बगैर ही उन्हें अपना फैसला सुना देते हैंl जैसे -स्कूल में क्या पढ़ना है, कहां खेलना है, कौन सा खेल खेलना है, कहां नौकरी करनी है, किससे दोस्ती करनी है इत्यादिl जिस कारण बच्चे अंदर ही अंदर घुटते रहते हैंl इस परिस्थिति में माता-पिता को अपने बच्चों की बातें सुनना चाहिएl बच्चों को सही और गलत के अंतर का फैसला खुद ही करने देl अगर माता-पिता को लगे कि बच्चा जो फैसला ले रहा है वह सही हैl तो बच्चों की प्रशंसा भी करें इससे बच्चों का आत्मविश्वास बढ़ेगा और बच्चे अपने विचार व्यक्त करना सीख कर आत्मनिर्भर बनेंगेl

धैर्य रखना सिखाएं:

21वीं सदी में बच्चे पढ़ाई, खेलकूद या किसी और काम में असफल होने पर बहुत ज्यादा जल्दी दुखी हो जाते हैंl माता-पिता को अपने बच्चों को बताना चाहिए कि सफलता और असफलता साथ चलती हैll जीवन में अगर असफलता मिलती है तो उससे हमें सीख लेनी चाहिए ना कि उससे परेशान और दुखी होना चाहिएl सफलता मिलने से पहले ऐसा असफलता का मिलना भी बहुत जरूरी होता हैl हमें बच्चों को समझना चाहिए की असफलता मिलने पर अपना धैर्य नहीं खोए कोई और हिम्मत से काम लेंl

बच्चों को घर के काम में शामिल करें:

बच्चों को पूर्ण आत्मनिर्भर बनाने के लिए बच्चों को घर के काम करने में अपने साथ शामिल करेंl घर के कुछ काम बच्चों को खुद करने दें जैसे स्कूल का काम ,खिलौने मैनेज करने का काम, तकिया और चद्दर को सही जगह रखने का काम, स्कूल बैग की साफ सफाई, जूते चप्पल को सही जगह पर रखने आदिl माता को चाहिए कि बच्चों को किचन में अपने साथ छोटा-छोटा काम करवा जैसे आलू पकड़ना, बर्तन देना इत्यादि और पिता को चाहिए कि वह बच्चों को लैपटॉप, मोबाइल, स्मार्ट टीवी इत्यादि कैसे काम करता है, सिखाएंl घर के काम में शामिल करने से बच्चों के अंदर कॉन्फिडेंस आएगाl यदि स्थिति आ जाती है कि बच्चों को घर पर अकेला रहना पड़े तो वह रह पाए l इससे बच्चा अपना काम खुद कर सकता हैl

चीजों की कीमत समझाएं:

आजकल ज्यादातर मां-बाप की एक या दो ही संताने होती हैl जिसे माता-पिता सोचते हैं कि वह अपने बच्चों की हर जरूरत को पूरी करेंl उनकी जरूरत की चीज उन्हें देंl यह अच्छी बात है की माता-पिता अपने बच्चों का ध्यान रखते हैंl परंतु बच्चों को पैसे की अहमियत समझाना भी जरूरी होता हैl यदि बच्चों को बिना मांगे चीज मिल जाएगी तो उन्हें पैसे की अहमियत नहीं समझ आएगीl बच्चों को प्रेरित करें कि वह एक गुल्लक ले और अपनी जेब खर्च से थोड़ा-थोड़ा पैसे बचाएl और जब उन्हें कुछ चीज की जरूरत हो तो अपने गुल्लक से पैसे निकालकर उनसे खरीदेंl इससे बच्चों को पैसे की अहमियत और चीजों की अहमियत का पता लगेगाl तभी बच्चे आगे जाकर सरवाइव कर पाएंगेl

बच्चों को मेहनत करने के लिए प्रेरित करें:

जब बच्चा कोई नया काम करता है और उसे तुरंत सफलता नहीं मिले तो वह हिम्मत हार जाता हैl यदि जैसे बच्चा मैथ की टेबल पढ़ रहा है या याद कर रहा है अगर उसे एक बार या दो बार पढ़ने से याद नहीं होताl तो बच्चे को बार-बार प्रोत्साहित करें कि तुम्हें एक दिन सफलता जरूर मिलेगीl बच्चों को नई-नई किताबें पढ़ने के लिए देंl महान व्यक्तियों की जीवनी और उनके संघर्ष के बारे में बच्चों को बताएंl बच्चों को मोटिवेट करें, उनसे बोले की आप जो चाहते हो उसे पा सकते हो, बस हिम्मत नहीं हारना हैl

गलतियों से सीख:

छोटे बच्चे भगवान का रूप होते हैंl उन्हें अच्छे-बुरे का ज्ञान नहीं होता हैl ऐसे में बच्चे खेलते-खेलते कोई गलती कर देते हैं तो माता-पिता उनके ऊपर चिल्लाने लगते हैंl जबकि माता-पिता को चिल्लाने की बजाय शांत होकरl उन्हें गलती के बारे में बताना चाहिए उन्हें बताना चाहिए कि यह गलती होगी, तो इसका दुष्प्रभाव क्या होगाl ऐसे शांत होकर समझाने से बच्चा भविष्य में ऐसी गलती दोबारा नहीं करेगाl यदि यदि माता-पिता, छोटी-छोटी गलतियों पर भी बच्चों को डटेंगे तो बच्चा अंदर से डरने लगेगा और जिंदगी के फैसले कभी ले पाएगा और आत्मनिर्भर कभी नहीं बन पाएगाl

ऊपर दी गई बातों को ध्यान में रखते हुए, यदि माता-पिता अपने बच्चों की परवरिश करेंगे, तो बच्चों का शारीरिक, मानसिक दोनों तरह से विकास होगा l बच्चे आत्मनिर्भर बनेंगे और अपनी समस्याओं को स्वयं सुधार पाएंगेl धन्यवाद!

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